Digital Currency डिजिटल करेंसी E Rupee ई रुपया क्या है | डिजिटल करेंसी ई रुपया के फायदे

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डिजिटल करेंसी और ई-रुपया क्या है?

डिजिटल करेंसी (Digital Currency) और ई-रुपया (E-Rupee) भारतीय रिज़र्व बैंक (RBI) द्वारा पेश की गई एक डिजिटल मुद्रा है, जिसे सेंट्रल बैंक डिजिटल करेंसी (CBDC) भी कहा जाता है। यह डिजिटल रूप में उपलब्ध सरकारी मुद्रा है, जो नकदी का एक विकल्प है।

डिजिटल करेंसी एक इलेक्ट्रॉनिक रूप में मुद्रा है, जिसे केंद्रीय बैंक द्वारा जारी और विनियमित किया जाता है। यह उसी मूल्य पर आधारित होती है जो सामान्य कागजी मुद्रा (फिजिकल करेंसी) की होती है। भारत में इसे “ई-रुपया” के नाम से पेश किया गया है।

(Digital Currency) ई-रुपया को दो प्रकारों में बांटा गया है

  1. ई-रुपया रिटेल (CBDC-R): आम जनता और खुदरा लेन-देन के लिए।
  2. ई-रुपया होलसेल (CBDC-W): वित्तीय संस्थानों और बैंकों के बीच बड़े लेन-देन के लिए।

ई-रुपया एक डिजिटल वॉलेट के माध्यम से संचालित होता है, जिसे बैंक और अन्य वित्तीय संस्थाएं जारी करती हैं।

Digital Currency डिजिटल करेंसी और ई-रुपया के फायदे

  1. सुरक्षित और पारदर्शी लेन-देन: ई-रुपया ब्लॉकचेन और डिजिटल लेजर तकनीक पर आधारित है, जो लेन-देन को सुरक्षित और पारदर्शी बनाता है।
  2. नकदी की निर्भरता कम: ई-रुपया का उपयोग नकद लेन-देन की आवश्यकता को कम करता है, जिससे मुद्रा की छपाई और प्रबंधन की लागत घटती है।
  3. तेज और सुलभ भुगतान: ई-रुपया का उपयोग करके बिना बैंक खाते के भी लोग डिजिटल लेन-देन कर सकते हैं।
  4. मुद्रा का तेज प्रसार: डिजिटल रूप में होने के कारण मुद्रा का प्रसार तेज और आसान होता है, खासकर ग्रामीण और दूरदराज के क्षेत्रों में।

Digital Currency ई-रुपया कैसे काम करता है?

डिजिटल वॉलेट: इसे उपयोग करने के लिए एक डिजिटल वॉलेट डाउनलोड करना होगा, जो बैंकों या RBI द्वारा प्रदान किया जाएगा।क्यूआर कोड: लेन-देन करने के लिए क्यूआर कोड का उपयोग किया जा सकता है।ऑफ़लाइन लेन-देन: ई-रुपया ऑफलाइन मोड में भी काम कर सकता है, जिससे इंटरनेट की आवश्यकता नहीं होती।

Digital Currency डिजिटल करेंसी E Rupee ई रुपया कब शुरू हुआ

1. होलसेल ई-रुपया (Wholesale E-Rupee)

  • तारीख: 1 नवंबर 2022
  • उद्देश्य: यह विशेष रूप से बड़े वित्तीय संस्थानों और बैंकों के बीच होलसेल लेन-देन के लिए पेश किया गया।
  • प्रयोग: सरकारी प्रतिभूतियों (Government Securities) के निपटान के लिए इसका उपयोग किया गया।
  • भागीदार बैंक: इस चरण में 9 प्रमुख बैंक शामिल थे, जैसे SBI, HDFC Bank, ICICI Bank, आदि।

2. रिटेल ई-रुपया (Retail E-Rupee)

  • तारीख: 1 दिसंबर 2022
  • उद्देश्य: आम जनता और खुदरा लेन-देन के लिए शुरू किया गया।
  • प्रयोग: पायलट परियोजना के तहत इसे कुछ शहरों और उपयोगकर्ताओं तक सीमित रखा गया।
  • शहर: शुरुआत में मुंबई, नई दिल्ली, बेंगलुरु, और भुवनेश्वर में इसे लागू किया गया।
  • बैंक: इसमें SBI, ICICI Bank, HDFC Bank, और IDFC First Bank जैसे प्रमुख बैंक शामिल थे।

ई-रुपया की वर्तमान स्थिति

ई-रुपया अब धीरे-धीरे पूरे देश में विस्तार कर रहा है। यह डिजिटल भुगतान प्रणाली को मजबूत करने और नकदी पर निर्भरता कम करने की दिशा में एक बड़ा कदम है।

RBI का लक्ष्य इसे एक व्यापक और सुगम डिजिटल मुद्रा के रूप में विकसित करना है, जिसे सभी वर्गों के लोग आसानी से इस्तेमाल कर सकें।

ई-रुपया के मुख्य बिंदु:

  1. डिजिटल रूप में सरकारी मुद्रा: ई-रुपया भारतीय रुपये का डिजिटल संस्करण है, जिसका मूल्य सामान्य रुपये (₹) के बराबर है।
  2. जारीकर्ता:
    भारतीय रिज़र्व बैंक (RBI) इस डिजिटल करेंसी को जारी करता है।
  3. लेन-देन का माध्यम:
    ई-रुपया का उपयोग भुगतान, खरीदारी, बैंकिंग और अन्य वित्तीय लेन-देन के लिए किया जा सकता है।
  4. प्रयोग का तरीका:
    • इसे डिजिटल वॉलेट के माध्यम से इस्तेमाल किया जा सकता है।
    • भुगतान क्यूआर कोड, मोबाइल नंबर या अन्य डिजिटल तरीकों से किया जा सकता है।

ई-रुपया (E-Rupee) भारतीय रिज़र्व बैंक (RBI) द्वारा जारी की गई डिजिटल करेंसी है। इसे सेंट्रल बैंक डिजिटल करेंसी (CBDC) भी कहा जाता है। यह भारत की राष्ट्रीय मुद्रा का डिजिटल रूप है, जिसे इलेक्ट्रॉनिक फॉर्म में जारी किया गया है और यह नकदी (Physical Cash) का एक सुरक्षित और आधुनिक विकल्प है।

ई-रुपया के मुख्य बिंदु:

  1. डिजिटल रूप में सरकारी मुद्रा: ई-रुपया भारतीय रुपये का डिजिटल संस्करण है, जिसका मूल्य सामान्य रुपये (₹) के बराबर है।
  2. जारीकर्ता:
    भारतीय रिज़र्व बैंक (RBI) इस डिजिटल करेंसी को जारी करता है।
  3. लेन-देन का माध्यम:
    ई-रुपया का उपयोग भुगतान, खरीदारी, बैंकिंग और अन्य वित्तीय लेन-देन के लिए किया जा सकता है।
  4. प्रयोग का तरीका:
    • इसे डिजिटल वॉलेट के माध्यम से इस्तेमाल किया जा सकता है।
    • भुगतान क्यूआर कोड, मोबाइल नंबर या अन्य डिजिटल तरीकों से किया जा सकता है।

ई-रुपया कैसे काम करता है?

  1. डिजिटल वॉलेट:
    ई-रुपया उपयोग करने के लिए एक डिजिटल वॉलेट की आवश्यकता होती है, जो बैंक या अन्य वित्तीय संस्थान जारी करते हैं।
  2. लेन-देन:
    • क्यूआर कोड स्कैन करके भुगतान किया जा सकता है।
    • यह ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों तरीकों से काम करता है।
  3. तकनीक:
    इसे ब्लॉकचेन और डिजिटल लेज़र तकनीक के आधार पर विकसित किया गया है, जिससे यह सुरक्षित और तेज़ है।


भारत में ई की नोट कौन जारी करता है?

एक रुपये का नोट वित्त मंत्रालय द्वारा जारी किया जाता है और इस पर वित्त सचिव के हस्ताक्षर होते हैं, जबकि अन्य नोटों पर RBI गवर्नर के हस्ताक्षर होते हैं। इसमें ‘भारत सरकार’ शब्दों के ऊपर ‘भारत सरकार’ शब्द शामिल हैं।

निष्कर्ष:

ई-रुपया भारत में डिजिटल भुगतान प्रणाली को नई ऊंचाइयों पर ले जाने का प्रयास है। यह न केवल नकद का एक डिजिटल विकल्प है, बल्कि वित्तीय समावेशन, पारदर्शिता और कुशल लेन-देन को भी बढ़ावा देता है।

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